दरबारी होली – बुरा न मानो होली है!
दिल्ली दरबार की होली सभा में राष्ट्रऋषि अपने सिंहासन पर विराजमान हैं. उनके नीचे की अति आरामदेह, आरामदेह और सामान्य कुर्सियों पर पदानुरुप मंत्री, संतरी और यंत्री...
टुन्न थे, सुन्न हुए
यह लोकतंत्र की खूबसूरती है कि नयी सरकार बनने के बाद शुरुआती कुछ महीने वह चुनाव में अपनी पार्टी के किए गए वादे पूरे करने में चुस्ती...
बापी दास का क्रिसमस
यह निबंध नहीं बल्कि कलकत्ते में रहने वाले एक युवा, बापी दास का पत्र है जो उसने इंग्लैंड में रहने वाले अपने एक नेट-फ्रेंड को लिखा था....
Ananda Coomaraswamy
“Ananda Coomaraswamy!” said my friend Rohit on Twitter, “You haven’t heard of him? Read him! Dance of Siva is his best book!”
Over the next few days I...
Battle of Diwer : हल्दीघाटी के बाद का इतिहास
क्या आपने कभी पढ़ा है कि हल्दीघाटी के बाद अगले १० साल में मेवाड़ में क्या हुआ..इतिहास से जो पन्ने हटा दिए गए हैं उन्हें वापस संकलित...
भांति भांति के पर्यटक
पर्यटन कभी ग्रीष्मकालीन छुटियों का पर्याय हुआ करता था. अप्रैल के आस पास से ही कुछ घरेलु पत्रिकाएं पर्यटन विशेषांक निकालने लगती थीं. इन्टरनेट के आगमन के...
Glimpses of ‘Digital India’ in Hinterlands
By the time I reached Mughal Sarai Junction it was 2.30 AM. I was on way to Varanasi to take a morning flight and the time wasn't...
जय छठी मैया !
यदि आप बम्बई या दिल्ली में रहते हैं तो पाएँगे की दीवाली की लम्बी छुट्टियाँ बीत जाने के बाद भी सड़कें खाली हैं और यदि पटना या...